दिल्ली

कांग्रेस ने ‘संप्रभुता’ संबंधी भाजपा के आरोप को बताया झूठा, PM के खिलाफ मामला दर्ज करने की मांग

कांग्रेस ने सोमवार को चुनाव आयोग से आग्रह किया कि वह पुलिस को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के उस ‘फर्जी बयान’ के लिए उनके खिलाफ मामला दर्ज करने का निर्देश, जिसमें उन्होंने कहा था कि ‘‘कांग्रेस कर्नाटक को भारत से अलग करने का प्रयास कर रही है

नेशनल डेस्कः

कांग्रेस ने सोमवार को चुनाव आयोग से आग्रह किया कि वह पुलिस को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के उस ‘फर्जी बयान’ के लिए उनके खिलाफ मामला दर्ज करने का निर्देश, जिसमें उन्होंने कहा था कि ‘‘कांग्रेस कर्नाटक को भारत से अलग करने का प्रयास कर रही है।”

प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रवक्ता ए एन नटराज गौड़ा और विधि प्रकोष्ठ के प्रमुख संजय यादव और कुछ अन्य नेताओं द्वारा हस्ताक्षरित प्रतिवेदन चुनाव आयोग के समक्ष दिया गया है। कांग्रेस ने आरोप लगाया, ‘‘प्रधानमंत्री की ओर से यह बयान गैरजिम्मेदारी के साथ दिया गया।”

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने रविवार को कांग्रेस पर करारा हमला करते हुए उस पर कर्नाटक को भारत से अलग करने का आरोप लगाया था और दावा किया था कि जब देश हित के खिलाफ काम करने की बात आती है, तो उसका ‘शाही परिवार’ सबसे आगे रहता है।

उधर, कर्नाटक विधानसभा चुनाव के लिये प्रचार के दौरान सोनिया गांधी की जनसभा में ‘संप्रभुता’ शब्द का उपयोग किए जाने पर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के हमले पर कांग्रेस महासचिव रणदीप सुरजेवाला ने सोमवार को कहा कि यह प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और सत्तारूढ़ पार्टी की हताशा को दिखाता है, जो किसी भी तरह चुनावी विमर्श को अपने पक्ष में करने के लिए प्रयासरत हैं।

सुरजेवाला ने कहा कि भाजपा का आरोप ‘फर्जी और झूठा’ है और उसने कर्नाटक के स्वाभिमान पर आघात किया है। उन्होंने एक बयान में कहा, ‘‘प्रधानमंत्री मोदी और भाजपा की हताशा स्पष्ट है, क्योंकि वे कर्नाटक के विमर्श को अपने पक्ष में करने के लिए तिनके का सहारा लेने की कोशिश में हैं। हम प्रधानमंत्री की ओर से आगे बढ़ाए जा रहे इस फर्जीवाड़े और झूठ को खारिज करते हैं।

प्रधानमंत्री इस सवाल का जवाब नहीं दे पाए कि भाजपा कर्नाटक के स्वाभिमान पर चोट क्यों कर रही है।” सुरजेवाला ने कहा कि प्रधानमंत्री को इसका जवाब देना चाहिए कि महाराष्ट्र की भाजपा-शिवसेना सरकार ने कर्नाटक के 865 गांवों में अपनी योजनाएं क्यों लागू कर दीं? उन्होंने सवाल किया, ‘‘क्या यह संघवाद का खुला उल्लंघन नहीं है?

कर्नाटक के युवाओं को केन्द्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) की परीक्षा कन्नड़ भाषा में देने की अनुमति क्यों नहीं दी जा रही है? मोदी सरकार ने गणतंत्र दिवस परेड में नारायण गुरु की झांकी की अनुमति क्यों नहीं दी?” कांग्रेस नेता ने कहा कि प्रधानमंत्री को कर्नाटक की ‘40 प्रतिशत कमीशन सरकार’ के बारे में जवाब देना चाहिए। उन्होंने कहा, ‘‘बहाने इस चुनाव में भाजपा का सहारा नहीं बन सकते।”

इस बीच, भाजपा ने सोमवार को चुनाव आयोग का रुख कर कांग्रेस नेता सोनिया गांधी के खिलाफ कार्रवाई करने और चुनाव प्रचार के दौरान कर्नाटक के लिए ‘‘संप्रभुता” शब्द का इस्तेमाल करने को लेकर उनकी पार्टी की मान्यता रद्द करने की मांग की। केंद्रीय मंत्री भूपेंद्र यादव के नेतृत्व में भाजपा के एक प्रतिनिधिमंडल ने इस मुद्दे पर चुनाव आयोग को एक ज्ञापन भी सौंपा।

पार्टी ने कहा, ‘‘कर्नाटक भारत संघ में एक बहुत ही महत्वपूर्ण सदस्य राज्य है और भारत संघ के सदस्य राज्य की संप्रभुता की रक्षा करने का कोई भी आह्वान अलगाव के आह्वान के समान है और यह खतरनाक और घातक परिणामों से भरा हुआ है।”

भाजपा नेता तरुण चुग ने संवाददाताओं से बातचीत में जनप्रतिनिधित्व कानून का हवाला देते हुए कहा कि कांग्रेस पार्टी की मान्यता रद्द कर दी जानी चाहिए। भाजपा ने इस मुद्दे पर गांधी के उस बयान की एक प्रति भी सौंपी, जिसे कांग्रेस ने ट्वीट किया था।

कांग्रेस ने शनिवार को हुबली में एक चुनावी रैली में सोनिया गांधी के भाषण का जिक्र करते हुए एक ट्वीट में कहा था कि कांग्रेस संसदीय दल की अध्यक्ष ने ‘‘6.5 करोड़ कन्नड़ लोगों को एक कड़ा संदेश दिया”। पार्टी ने उनकी तस्वीर भी साझा की, जिसमें वह जनसभा को संबोधित करते दिख रही हैं। कांग्रेस ने ट्वीट में कहा था, ‘‘कांग्रेस किसी को भी कर्नाटक की प्रतिष्ठा, संप्रभुता या अखंडता के लिए खतरा पैदा नहीं करने देगी।”

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