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रेल का बढ़ा किराया तो भड़का विपक्षी खेमा, खरगे बोले- जनता को लूटने का कोई मौका नहीं छोड़ रही मोदी सरकार

रेल टिकट के दाम बढ़ने के बाद देशभर में आरोप-प्रत्यारोप की राजनीति तेज हो गई है। इसी क्रम में कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने मोदी सरकार पर आम जनता से लूट का आरोप लगाया है। उनका कहना है कि बजट से पहले किराया बढ़ाकर सरकार ने लोगों पर बोझ डाला है। खरगे ने रेलवे की सुरक्षा, खाली पदों और ‘कवच’ योजना पर भी सवाल उठाया।

नई दिल्ली

 

रेल मंत्रालय ने रविवार को ट्रेन की टिकट के दाम को बढ़ाने का एलान किया, जिसके बाद विपक्ष ने केंद्र सरकार पर जमकर निशाना साधा है। कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे मोदी सरकार पर आम लोगों से लूट करने का आरोप लगाया है। सोमवार को उन्होंने कहा कि सरकार ने एक साल में दूसरी बार रेल किराया बढ़ाया है और यह बढ़ोतरी केंद्रीय बजट से ठीक पहले की गई है। सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर किए पोस्ट में खरगे ने लिखा कि मोदी सरकार के दौर में रेलवे की हालत खराब हो गई है। उन्होंने इस बात पर भी जोर दिया कि अलग रेलवे बजट खत्म होने से जवाबदेही भी खत्म हो गई है।

बता दें कि रेल मंत्रालय ने रविवार को ट्रेन टिकट के दाम बढ़ाने का एलान किया। नए नियमों के मुताबिक, साधारण श्रेणी में 215 किलोमीटर से ज्यादा की यात्रा पर प्रति किलोमीटर 1 पैसा बढ़ाया गया है। वहीं, मेल/एक्सप्रेस ट्रेनों की नॉन-एसी क्लास और सभी ट्रेनों की एसी क्लास में प्रति किलोमीटर 2 पैसे की बढ़ोतरी की गई है। इसके बाद से आरोप-प्रत्यारोप की राजनीति बढ़ गई है।

 

रेलवे की लगातार बिगड़ रही सुरक्षा व्यवस्था- खरगे
कांग्रेस अध्यक्ष खरगे ने आगे आरोप लगाया कि सरकार प्रचार में ज्यादा और काम में कम ध्यान दे रही है। उन्होंने कहा कि रेलवे की सुरक्षा लगातार बिगड़ रही है। एनसीआरबी की रिपोर्ट का हवाला देते हुए उन्होंने दावा किया कि 2014 से 2023 के बीच रेलवे हादसों में 2.18 लाख लोगों की मौत हुई है। इतना ही नहीं खरगे ने रेल सुरक्षा प्रणाली ‘कवच’ को लेकर भी सरकार पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि पांच साल से इसकी बातें हो रही हैं, लेकिन यह अब तक 3 प्रतिशत से भी कम रेल मार्गों और 1 प्रतिशत से कम इंजनों में ही लागू हो पाया है।

रेलवे के खाली पदों का भी उठाया मुद्दा
इस दौरान कांग्रेस अध्यक्ष खरगे ने रेलवे में खाली पदों का भी मुद्दा उठाया। उन्होंने कहा कि 3.16 लाख पद खाली पड़े हैं। युवाओं को स्थायी नौकरी नहीं मिल रही और ठेके पर भर्ती बढ़ रही है। खरगे ने यह भी आरोप लगाया कि रेलवे में प्रशिक्षण और मानव संसाधन विकास के लिए मिले फंड का पूरा इस्तेमाल नहीं किया गया। उनके मुताबिक, 2023-24 में सिर्फ 42 प्रतिशत और 2024-25 में दिसंबर तक 68 प्रतिशत फंड ही खर्च हुआ।

लोको पायलटों के मुद्दे पर भी सरकार को घेरा
उन्होंने लोको पायलटों को पर्याप्त आराम न मिलने और अमृत भारत योजना के तहत स्टेशन विकास में देरी का भी जिक्र किया। खरगे ने कहा कि 453 स्टेशनों के लक्ष्य के मुकाबले सिर्फ 1 स्टेशन का ही उन्नयन हुआ है।इसके अलावा उन्होंने दावा किया कि रेलवे को 2,604 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है, जबकि वरिष्ठ नागरिकों की रियायतें खत्म कर उनसे 8,913 करोड़ रुपये वसूले गए। खरगे ने वंदे भारत ट्रेनों की रफ्तार पर भी सवाल उठाए और कहा कि 160 किमी प्रति घंटे के दावे के बावजूद इनकी औसत रफ्तार सिर्फ 76 किमी प्रति घंटे है।

 

26 दिसंबर से लागू होगा नया किराया
गौरतलब है कि रेल मंत्रालय ने कल बताया कि बढ़ा हुआ किराया 26 दिसंबर 2025 से लागू होगा। हालांकि, उपनगरीय ट्रेनों के मासिक सीजन टिकट और 215 किलोमीटर तक की साधारण यात्रा पर कोई बढ़ोतरी नहीं की गई है। अधिकारियों के मुताबिक, इस किराया बढ़ोतरी से 31 मार्च 2026 तक रेलवे को करीब 600 करोड़ रुपये की अतिरिक्त आय होगी। वहीं, जुलाई 2025 में हुई पिछली बढ़ोतरी से अब तक 700 करोड़ रुपये का राजस्व मिला है।

 

 

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