‘जीतें या हारें पर कोशिश तो…’, संसद के घुसपैठिए सागर की इंस्टाग्राम पर आखिरी पोस्ट, अब हो रही चर्चा

Parliament Security Breach: सागर शर्मा का परिवार उत्तर प्रदेश के उन्नाव जिले का रहने वाला है. सागर पेशे से ई-रिक्शा चालक है. लोकसभा की विजिटर गैलरी से छलांग लगाते हुए वो नीचे सदन की कार्यवाही के बीच पहुंच गया और उसने रंगीन स्प्रे के माध्यम से वहां धुआं फैला दिया.
नई दिल्ली.
लोकसभा में दर्शक दीर्घा से छलांग लगाकर सदन में कूदने वाले सागर शर्मा ने अपने आखिरी सोशल मीडिया पोस्ट में कहा कि प्रयास करना जरूरी है, फिर चाहे आप जीतें या हारें. सागर ने अपने अन्य साथी के साथ दर्शक दीर्घा से कूदकर सदन में अफरातफरी मचा दी, जिसे सांसदों ने पकड़ लिया. वर्ष 2001 में संसद पर आतंकवादी हमले की बरसी पर सुरक्षा में सेंधमारी करते हुए दो व्यक्ति सागर शर्मा और मनोरंजन डी शून्यकाल के दौरान दर्शक दीर्घा से सदन में कूद गए और उन्होंने ‘कैन’ से पीला धुआं उड़ाते हुए नारेबाजी की, जिन्हें बाद में सांसदों द्वारा पकड़ लिया.
इंस्टाग्राम पर एक पोस्ट में सागर ने लिखा, ”जीतें या हारें पर कोशिश तो जरूरी है. अब देखना ये है सफर कितना हसीं होगा. उम्मीद है फिर मिलेंगे.” सागर के परिवार के सदस्यों ने कहा कि वह दिल्ली में एक ‘विरोध-प्रदर्शन’ में शामिल होने के लिए दो दिन पहले लखनऊ स्थित अपने घर से चला गया था. हालांकि परिवार का कहना है कि उन्हें इस बात का बिलकुल भी अंदाज नहीं था कि वह संसद की सुरक्षा में सेंधमारी की घटना में शामिल होने के लिए जा रहा है. पुलिस के मुताबिक, सागर का परिवार उत्तर प्रदेश के उन्नाव जिले का रहने वाला है. पुलिस ने परिजनों के हवाले से बताया कि सागर हाल ही में बेंगलुरु से लखनऊ लौटा था. पुलिस के एक अधिकारी ने कहा, ”वह ई-रिक्शा चलाता था.”
सांसद के विजिटर पास पर ली थी एंट्री
जांच के दौरान पता चला कि कर्नाटक से बीजेपी सांसद प्रताप सिम्हा के नाम से जारी विजिटर पास के माध्यम से आरोपी लोकसभा की विजिटर गैलरी तक पहुंचे थे. जिसके बाद सागर और मनोरंजन ने गैलरी से लोकसभा परिसर में छलांग लगाई और रंगीन धुआं उड़ाया. सुरक्षाकर्मियों और लोकसभा सदस्यों ने दोनों को पकड़कर पुलिस के हवाले कर दिया.
सोसद ने घटना पर दी सफाई
सांसद प्रताप सिम्हा पेश मामले में बुधवार शाम वो अपना पक्ष रखने के लिए लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मिलने पहुंचे. सूत्रों के मुताबिक उनका कहना है कि वह आरोपी सागर के पिता को जानते थे. पिता से जान पहचान के कारण ही वो उनसे लगातार संपर्क में थे. उन्हें नई संसद देखनी थी. इसलिए उन्होंने विजिटर पास जारी कर आने की अनुमति दी थी.