कलेक्टर, पुलिस कमिश्नर भगवान की तरह व्यवहार करते हैं.अधिकारी आम नागरिकों की पहुंच से परे हैं : गुजरात हाईकोर्ट

‘कलेक्टर, पुलिस कमिश्नर भगवान…, आम नागरिकों की पहुंच से परे’, अदालत ने की सरकार की खिंचाई, जानिए…..
अहमदाबाद
गुजरात उच्च न्यायालय ने प्रशासनिक अधिकारियों के रवैये को लेकर तल्ख टिप्पणी की है। हाईकोर्ट ने कहा, कलेक्टर, पुलिस कमिश्नर भगवान की तरह व्यवहार करते हैं। अदालत ने कहा अधिकारी आम नागरिकों की पहुंच से परे हैं।
गुजरात उच्च न्यायालय में मुख्य न्यायाधीश सुनीता अग्रवाल और न्यायमूर्ति अनिरुद्ध पी मायी की खंडपीठ ने सरकार की लचर व्यवस्था पर असंतोष प्रकट किया। अदालत ने सख्त टिप्पणी में कहा, जिला कलेक्टर और पुलिस आयुक्त जैसे अधिकारी “भगवान की तरह व्यवहार करते हैं।” कोर्ट ने कहा कि शीर्ष प्रशासनिक अधिकारी आम नागरिकों के लिए पहुंच से बाहर हैं।
पुलिसकर्मियों के खिलाफ शिकायत दर्ज करने के लिए हेल्पलाइन नंबर के प्रचार-प्रसार के तरीके पर असंतोष व्यक्त करते हुए गुजरात उच्च न्यायालय ने शुक्रवार को सरकार को अहम निर्देश दिए। हाईकोर्ट ने कहा कि सरकार जनता को स्थापित शिकायत कक्ष और हेल्पलाइन नंबर के बारे में स्पष्ट तरीके से सूचित करे। अदालत एक घटना की समाचार रिपोर्ट पर आधारित स्वत: संज्ञान जनहित याचिका (पीआईएल) पर सुनवाई कर रही थी। इस मामले में ट्रैफिक कॉन्स्टेबलों पर अहमदाबाद शहर में देर रात यात्रा कर रहे एक जोड़े से कथित तौर पर पैसे वसूलने के आरोप लगे हैं।
मुख्य न्यायाधीश अग्रवाल ने कहा, “क्या आप उम्मीद करते हैं कि एक सामान्य नागरिक आपके कार्यालय के सामने खड़ा होगा? उसे शिकायत कार्यालय में प्रवेश करने की अनुमति कौन देगा? आपके डीएम (जिला मजिस्ट्रेट) और आयुक्त भगवान की तरह, राजा की तरह व्यवहार करते हैं। हमें कुछ भी कहने के लिए उकसाएं नहीं, यही जमीनी हकीकत हैं।”




