खेल

Tokyo Paralympics : हरविंदर सिंह ने भारत को तीरंदाजी में दिलाया पहला पैरालंपिक मेडल, जीता ब्रॉन्ज

हरविंदर सिंह (Harvinder Singh) ने टोक्यो पैरालंपिक (Tokyo Paralympics) में इतिहास रच दिया और तीरंदाजी में देश को पहला पदक दिलाया. उन्होंने कोरिया के किम मिन सू को हराकर पुरुष व्यक्तिगत रिकर्व स्पर्धा में ब्रॉन्ज मेडल जीता. इसी के साथ भारत के नाम टोक्यो पैरालंपिक खेलों में कुल 13 पदक हो गए हैं.

हरविंदर सिंह ने टोक्यो पैरालंपिक में ब्रॉन्ज मेडल जीता और भारत को इन खेलों की तीरंदाजी स्पर्धा में पहला पदक दिलाया.

नई दिल्ली.

भारत के तीरंदाज हरविंदर सिंह (Harvinder Singh) ने ऐतिहासिक प्रदर्शन करते हुए टोक्यो पैरालंपिक (Tokyo Paralympics) में शुक्रवार को ब्रॉन्ज मेडल जीता. यह तीरंदाजी में भारत का पैरालंपिक का अब तक का पहला पदक है. इसी के साथ भारत के नाम टोक्यो पैरालंपिक खेलों में कुल 13 पदक हो गए हैं जो उसका अब तक का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन है. हरविंदर ने कोरिया के किम मिन सू को हराकर पुरुष व्यक्तिगत रिकर्व- ओपन इवेंट में पदक जीता.

 

हरविंदर ने कोरियाई शूटर को शूट ऑफ में 6-5 से पीछे छोड़ा और पदक अपने नाम कर लिया. उन्होंने तीन बार के पैरालंपियन जर्मनी के मैक स्जार्सजेव्स्की को 6-2 से हराकर इस इवेंट के सेमीफाइनल में जगह बनाई थी. सेमीफाइनल में वह अमेरिका के केविन माथेर से 4-6 से हार गए थे. इसके बाद उन्होंने कांस्य पदक के लिए रोमांचक शूटऑफ में कोरिया के किम मिन सू को मात दी. दुनिया के 23वें नंबर के खिलाड़ी हरविंदर सिंह ने 2018 पैरा एशियाई खेलों में स्वर्ण पदक जीता था.

पटियाला की पंजाब यूनिवर्सिटी में अर्थशास्त्र के छात्र सिंह ने कांस्य पदक के प्लेऑफ में 5-3 से बढ़त बना ली थी लेकिन कोरियाई तीरंदाज ने पांचवां सेट जीतकर मुकाबले को शूटऑफ में खींचा. सिंह ने परफेक्ट-10 लगाया जबकि किम 8 ही स्कोर कर सके. हरविंदर सिंह ने 26-24, 27-29, 28-25, 25-25, 26-27, 10-8 से जीत दर्ज की.

 

पहले दौर में सिंह ने इटली के स्टेफानो ट्राविसानी की चुनौती शूटआउट में 6-5 (10-7) से समाप्त की. वह तीसरे सेट में सात का निशाना लगाकर 4-0 की बढ़त गंवा बैठे लेकिन उन्होंने वापसी करते हुए 5-5 से बराबरी की और शूटऑफ में पहुंचे. हरियाणा के कैथल के रहने वाले सिंह ने टाई ब्रेकर में परफेक्ट-10 का निशाना लगाकर इसमें जीत हासिल की जबकि प्रतिद्वंद्वी केवल सात का ही निशाना लगा सका. इसके बाद उन्होंने रूसी पैरालंपिक समिति के बाटो सिडेंडरझिएव को 6-5 से हराया. मुकाबले में 0-4 से पिछड़ने के बाद उन्होंने 5-5 से बराबरी की और शूटऑफ में 8-7 से जीत दर्ज की.

मध्यम वर्ग किसान परिवार के सिंह जब डेढ़ साल के थे तो उन्हें डेंगू हो गया था. स्थानीय डॉक्टर ने एक इंजेक्शन लगाया जिसका गलत असर पड़ा और तब से उनके पैरों ने ठीक से काम करना बंद कर दिया. इससे पहले शुक्रवार को टोक्यो पैरालंपिक में पैरा एथलीट प्रवीण कुमार ने हाई जंप में सिल्वर मेडल जीता है जबकि शूटर अवनि लेखरा ने महिलाओं की 50 मीटर राइफल थ्री पोजीशन एसएच1 में तीसरे स्थान पर रहते हुए ब्रॉन्ज हासिल किया. भारत ने अभी तक 2 गोल्ड, 6 सिल्वर और 5 ब्रॉन्ज मेडल जीत लिए हैं. (PTI से इनपुट)

डोनेट करें - जब जनता ऐसी पत्रकारिता का हर मोड़ पर साथ दे. फ़ेक न्यूज़ और ग़लत जानकारियों के खिलाफ़ इस लड़ाई में हमारी मदद करें. नीचे दिए गए बटन पर क्लिक कर क्राइम कैप न्यूज़ को डोनेट करें.
 
Show More

Related Articles

Back to top button
Close